मेरी सच्ची साथी! कॉलेज का वो जमाना बहुत याद आता है। कॉलेज पास करके विश्वविद्यालय में जाने के बाद भी कॉलेज के उन दिनों को भूल नहीं पाई थी। विश्वविद्यालय में मुझे वैसे दोस्त नहीं मिले जो कॉलेज के उन तीन सालों में मुझे मिले थे। एनसीसी से जुड़े होने के कारण हमने वहां पर बहुत मस्ती की थी। बहुत सारे ऐसे दोस्त हैं जिनकी शादी हो गई और उनका साथ छूट गया था लेकिन फिर भी उन पलों को याद करके आज भी उन पलों को फिर से जीने की तमन्ना तो दिल में जाग ही उठती है।
मेरी सच्ची साथी! कॉलेज खत्म करने के तुरंत बाद ही मेरी शादी हो गई थी और शादी के चार सालों के बाद मैंने फिर से पढ़ाई अपनी शुरू की थी और अपनी पीजी की पढ़ाई पूरी की थी। बच्चे छोटे थे बहुत सारी परेशानियां हुई थी लेकिन फिर भी कॉलेज के उन दिनों को फिर से जीने की तमन्ना शायद मेरे साथ साथ और भी लड़के और लड़कियों को होती होगी आज जब लिखनी पड़ती होगी ताकि माध्यम से स्कूल और कॉलेज की उन यादों को साझा करने का अवसर मिला तो तुमसे उन पलों को साझा करने के साथ-साथ हुए पहले आंखों के सामने चलचित्र की बातें आ जा रहे हैं और दिल मचल रहा है कि काश! हम फिर से स्कूल और कॉलेज के उन दिनों में वापस जा पाते जहां पर ना तो कुछ पाने की तमन्ना थी और ना ही कुछ खोने का डर ही था,सिर्फ था अपने आप को उन पलों में समाहित कर अपने साथ जीने का। उन पलों का भरपूर आनंद उठाने का जो पल शायद! हमारे जीवन में अब कभी भी नहीं आने वाला था। उस वक्त भी मेरे साथ - साथ सभी लड़कियों को यह अनुभव हो रहा था कि जो पल हम जी रहे हैं वह वापस से कभी भी आने वाला नहीं है इसलिए जो भी पल हमें मिल रहा है उन पलों को भरपूर जिया जाए और आज मैं कह सकती हूॅं कि मैंने अपने स्कूल और कॉलेज के उन पलों को भरपूर जिया है।
मेरी सच्ची साथी! स्कूल और कॉलेज में बिताए हुए पल बहुत याद आते हैं कभी-कभी तो मन करता है कि काश! उस पल में फिर से वापस जा पाते और उन सुनहरे पलों को अपने दोस्तों के साथ फिर से जीते लेकिन ऐसा होना संभव नहीं है। खैर कोई बात नही! इन तमाम बातों को दरकिनार करते हुए आगे बढ़ते हैं और तुम्हारे माध्यम से लेखनी को मैं बहुत बड़ा धन्यवाद देना चाहूंगी कि उन पलों को दोबारा से यादों से निकालकर तुम्हारे साथ याद करने का एक बार फिर से मुझे मौका इनकी बदौलत ही मुझे मिला। आगे भी हमारा साथ यूं ही बरकरार रहेगा। जाने का मन तो नहीं कर रहा है लेकिन फिर भी जाना पड़ेगा क्योंकि जब तक जाऊंगी नहीं फिर से वापस तुमसे मिलने कैसे आ पाऊंगी? फिर से मिलने की उम्मीद की उम्मीद लिए .......
अदिति झा
03-Feb-2023 01:19 PM
Nice 👍🏼
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प्रत्यंगा माहेश्वरी
02-Feb-2023 11:28 PM
Behtarin rachana
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shweta soni
02-Feb-2023 12:41 PM
बहुत सुंदर 👌👌
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